दिल्ली HC से सिंह ब्रदर्स को झटका
रैनबैक्सी मामले में आर्बिट्रेशन अवार्ड का पालन कराने के लिए दिल्ली हाईकोर्ट ने फोर्टिस के प्रमोटर और अरबपति बिजनेसमैन सिंह ब्रदर्स को अपनी दो कंपनियां आरएचसी होल्डिंग और ऑस्कर इन्वेस्ट की सभी एसेट्स को अटैच करने का आदेश दिया है

नई दिल्ली.
रैनबैक्सी मामले में आर्बिट्रेशन अवार्ड का पालन कराने के लिए दिल्ली हाईकोर्ट ने फोर्टिस के प्रमोटर और अरबपति बिजनेसमैन सिंह ब्रदर्स को अपनी दो कंपनियां आरएचसी होल्डिंग और ऑस्कर इन्वेस्ट की सभी एसेट्स को अटैच करने का आदेश दिया है, साथ ही कोर्ट ने उनसे अपनी ऋणरहित संपत्तियों से संबंधित एफिडेविट जमा करने के लिए भी कहा है।
कोर्ट ने आरएचसी होल्डिंग्स पर सैलरी और स्टैच्युरी ड्यूज के पेमेंट को छोड़कर अन्य कार्यों के लिए बैंक अकाउंट्स के इस्तेमाल पर रोक लगा दी है। इस आदेश के क्रम में सिंह ब्रदर्स को अपनी ऋणरहित एसेट्स की पूरी लिस्ट भी जमा करनी होगी।
<strong>रैनबैक्सी पर लगे थे ये भी आरोप </strong>
जापान की दवा कंपनी ने दलील दी थी कि मलविंदर सिंह और शिविंदर सिंह ने 2008 में रैनबैक्सी बेचते समय उससे कई जानकारियां छिपाई थीं। 2013 में कंपनी अमेरिका में मिलावटी दवाएं बेचने और गलत आंकड़े वितरित करने की दोषी पाई गई थी।
उसे 50 करोड़ डॉलर का भुगतान करना पड़ा था। बाद में दाइची से सन फार्मास्युटिकल लिमिटेड ने रैनबैक्सी का अधिग्रहण कर लिया था। दाइची सैंक्यो ने आर्बिट्रल अवार्ड को लागू करने के लिए सिंगापुर ट्रिब्यूनल में पिटीशन फाइल की थी और 2016 में केस जीत भी लिया था।
सिंह ब्रदर्स ने दिल्ली हाईकोर्ट में दलील दी थी कि भारतीय कानून के तहत आर्बिट्रल अवार्ड को लागू नहीं किया जा सकता। उन्होंने कोर्ट ऑफ अपील ऑफ सिंगापुर में भी इस अवार्ड को अलग से चुनौती दी है।
वहीं सुप्रीम कोर्ट ने भी दाइची की एक अन्य पिटीशन पर सुनवाई करते हुए सिंह ब्रदर्स पर फोर्टिस हेल्थकेयर में अपनी कोई एसेट बेचने से रोक लगा दी थी।>