
नई दिल्ली। प्रतिबंधित खालिस्तान समर्थक संगठन ‘सिख फॉर जस्टिस’ से जुड़ी 40 वेबसाइटों को सरकार ने बैन करने का फैसला किया है। गृह मंत्रालय की सिफारिश पर सरकार ने यह कदम उठाया है। सरकार ने बीते दस जुलाई 2019 को ही संगठन को प्रतिबंधित कर दिया था। बीते एक जुलाई को केंद्र ने इस गैर कानूनी संगठन के स्वयंभू प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू को आतंकी घोषित कर दिया था। हाल ही में पन्नू के खिलाफ हरियाणा पुलिस ने भी देशद्रोह के आरोप में केस दर्ज किया है।
हरियाणा के गुरुग्राम में एसटीएफ ने राष्ट्रविरोधी और भड़काऊ टेली-कॉलिंग अभियान चलाने के आरोप में पन्नू के खिलाफ भोंडसी थाने में देशद्रोह का केस दर्ज कराया था। बीते एक जुलाई को केंद्र ने इस गैर कानूनी संगठन के स्वयंभू प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू को आतंकी घोषित कर दिया था। हाल ही में पन्नू के खिलाफ हरियाणा पुलिस ने भी देशद्रोह के आरोप में केस दर्ज किया है। हरियाणा के गुरुग्राम में एसटीएफ ने राष्ट्रविरोधी और भड़काऊ टेली-कॉलिंग अभियान चलाने के आरोप में पन्नू के खिलाफ भोंडसी थाने में देशद्रोह का केस दर्ज कराया था।
सुरक्षा एजेंसियां इन लोगों पर नजर रख रही हैं।
बीते दिनों पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने भी सिख फॉर जस्टिस और इसके प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू के खिलाफ की गई अब तक की कार्रवाई से संतुष्टि जताई थी। पंजाब सरकार ने बीते शुक्रवार को जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान कोर्ट को जानकारी दी कि संगठन से जुड़े 116 वाट्सएप ग्रुप पर प्रतिबंध के अलावा पुलिस इस प्रतिबंधित कट्टरपंथी संगठन के खिलाफ 16 एफआइआर दर्ज कर चुकी है।
बता दें कि इंग्लैंड में बैठे गुरपतवंत सिंह पन्नू की ओर से रेफरेंडम-2020 के तहत खालिस्तान की मांग की जा रही है। इसे देखते हुए एजेंसियां चौकस हो गई हैं। यही नहीं सोशल नेटवर्किग साइटों पर भी नजर रखी जा रही है। पुलिस भी अतिरिक्त सतर्कता बरत रही है। बीते शुक्रवार को संगठन के प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू के साथी जोगिंदर सिंह गुज्जर को पुलिस ने गांव अकाला (कपूरथला) से गिरफ्तार किया गया था। सूत्रों की मानें तो पुलिस ने उन लोगों की सूची तैयार की है जो खालिस्तान समर्थक हैं। सुरक्षा एजेंसियां इन लोगों पर नजर रख रही हैं।